पटना | झारखंड विधानसभा चुनाव के सन्दर्भ में राजद (RJD) के सांसद मनोज कुमार झा ने भाजपा पर एक कड़ा हमला बोला है। उन्होंने भाजपा के राजनीतिक रणनीतियों को लेकर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि "भाजपा के पास बांटने और काटने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है।" उनका यह बयान झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को जेल भेजने और उसके बाद राज्य में लागू की गई योजनाओं से जुड़ा हुआ है, जिसे लेकर उन्होंने भाजपा की रणनीति पर सवाल उठाए।
हेमंत सोरेन को जेल भेजने के बाद का माहौल
मनोज झा का कहना है कि हेमंत सोरेन के खिलाफ जो राजनीतिक साजिशें चल रही हैं, वे केवल एकतरफा माहौल बनाने के लिए की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि जब से हेमंत सोरेन को जेल भेजने की कोशिशें तेज हुई हैं, तब से राज्य में भाजपा ने उन योजनाओं का समर्थन किया है, जिन्हें सिर्फ चुनावी लाभ के लिए लागू किया गया है। उनके अनुसार, भाजपा का मुख्य उद्देश्य सत्ता पर काबिज होना है, और इसके लिए वह जनता को केवल बांटने और काटने के प्रयासों में लगी हुई है। झा ने यह भी कहा कि इस प्रकार की राजनीति से भाजपा की हार निश्चित है, क्योंकि लोग अब इन चालों को समझ चुके हैं।
बिहार उपचुनाव के नतीजे और भाजपा की राजनीति
मनोज कुमार झा ने बिहार के उपचुनाव पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि जब 23 नवंबर को उपचुनाव के नतीजे आएंगे, तो भाजपा को बड़े झटके लगेंगे और "लोगों के पांव तले जमीन निकल जाएगी।" झा का आरोप है कि भाजपा की चुनावी रणनीतियों में कोई स्थिरता नहीं है और वह हमेशा साजिशों और कट्टर राजनीति का सहारा लेकर अपने उद्देश्य को पूरा करने की कोशिश करती है।
भाजपा की राजनीतिक रणनीति पर सवाल
मनोज झा ने भाजपा की राजनीतिक रणनीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि पार्टी को अपनी कट्टरपंथी और विभाजनकारी राजनीति को छोड़कर विकास और रोजगार जैसे मुद्दों पर ध्यान देना चाहिए। झा के अनुसार, भाजपा की नीति "बांटने" और "काटने" पर केंद्रित है, जो अंततः उसे चुनावी सफलता दिलाने में विफल साबित होगी। उनका कहना था कि अब जनता समझ चुकी है कि जो सत्ता पाने के लिए समाज को बांटने का काम करती है, वह कभी भी उसकी भलाई के लिए काम नहीं कर सकती।
आने वाले समय में राजनीतिक बदलाव
मनोज कुमार झा के बयान से साफ है कि वे भाजपा की वर्तमान राजनीति को एक बड़ा खतरा मानते हैं और इसका विरोध कर रहे हैं। उनका यह भी मानना है कि अब समय आ गया है जब लोग इस विभाजनकारी राजनीति के खिलाफ आवाज उठाएंगे और सत्ता में बदलाव लाएंगे। झा ने स्पष्ट रूप से कहा कि जिस तरह से भाजपा राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर सत्ता के लिए खेल खेल रही है, उसका अंत निकट है और इसका असर 23 नवंबर को होने वाले उपचुनावों के परिणामों में स्पष्ट रूप से देखने को मिलेगा।
इस समय में जब चुनावी माहौल गर्म है, ऐसे में मनोज कुमार झा का यह बयान भाजपा की रणनीतियों और राजनीतिक व्यवहार को लेकर एक महत्वपूर्ण संकेत दे रहा है।
मनोज कुमार झा के बयान से यह स्पष्ट है कि विपक्षी दल भाजपा की राजनीति को लेकर गंभीर सवाल उठा रहे हैं। उनका कहना है कि भाजपा की विभाजनकारी और लाभ की राजनीति अब अंत की ओर बढ़ रही है, और लोग बदलाव के लिए तैयार हैं। यह बयान झारखंड विधानसभा चुनाव और बिहार उपचुनाव के नतीजों को लेकर भाजपा के खिलाफ एक तगड़ा राजनीतिक संदेश है, जो आने वाले समय में और भी दिलचस्प मोड़ ले सकता है।
