वैशाली | देसरी प्रखंड परिवर्तन संघर्ष मोर्चा के नेताओं ने प्रखंड के विभिन्न गांवों में मच्छरों से उत्पन्न होने वाली बीमारियों जैसे डेंगू और मलेरिया की रोकथाम हेतु फॉगिंग एवं छिड़काव की मांग को लेकर बीडीओ देसरी और स्वास्थ्य प्रभारी को ज्ञापन सौंपा। यह ज्ञापन प्रखंड के चकमहमद, माधोपुर गजपट्टी, उफरौल, गाजीपुर, देसरी और आसपास के गांवों में फैल रही डेंगू और टाइफाइड जैसी बीमारियों के बढ़ते प्रकोप के बीच सौंपा गया।
प्रेस नोट में क्या था खास
प्रतिनिधिमंडल में शामिल देसरी प्रखंड परिवर्तन संघर्ष मोर्चा के सचिव रंजीत पंडित, सह सचिव मो. रुस्तम, अभिषेक कुमार, रत्नेश कुमार सिंह, सोहन कुमार और मो. सद्दाम हुसैन ने बीडीओ और स्वास्थ्य प्रभारी को पत्र में बताया कि मच्छरों से उत्पन्न होने वाली बीमारियां, विशेष रूप से डेंगू, अब ग्रामीण इलाकों में भी तेजी से फैल रही हैं। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्रों में जहां फॉगिंग और मच्छरजन्य कीटों की नियंत्रण के लिए नियमित छिड़काव कराया जाता है, वही गांवों में ऐसी कोई व्यवस्था नहीं है, जिससे बीमारियों का प्रसार रोका जा सके।
ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं की कमी
ज्ञापन में यह भी कहा गया कि भारत में स्वास्थ्य सेवाओं का विकास बहुत असमान है, जिसमें शहरी क्षेत्रों में अधिक ध्यान दिया गया है, जबकि ग्रामीण इलाकों की स्वास्थ्य सेवाएं अक्सर उपेक्षित रहती हैं। ग्रामीण इलाकों में अनुभवी स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं का समय पर दौरा न करने के कारण बीमारियों के इलाज में गुणवत्ता की कमी महसूस होती है। फॉगिंग और कीटनाशक छिड़काव जैसे उपाय शहरी क्षेत्रों में तो नियमित रूप से किए जाते हैं, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में इनकी व्यवस्था नहीं है, जिससे बीमारियों का प्रसार होता है।
फॉगिंग की तत्काल आवश्यकता
रंजीत पंडित ने कहा, "हमारे क्षेत्र के कई गांवों में डेंगू और टाइफाइड जैसे रोग फैलने लगे हैं। खासकर चकमहमद, माधोपुर गजपट्टी, उफरौल और गाजीपुर में लोग इन बीमारियों से जूझ रहे हैं। हमें तत्काल फॉगिंग और छिड़काव की आवश्यकता है ताकि इन बीमारियों का प्रसार रोका जा सके।"
इस ज्ञापन में नेताओं ने स्वास्थ्य विभाग से तत्काल कार्रवाई करने की अपील की और यह भी सुझाव दिया कि ग्रामीण क्षेत्रों में नियमित रूप से फॉगिंग एवं छिड़काव की व्यवस्था शुरू की जाए, जिससे ग्रामीणों को इस महामारी से बचाया जा सके।
समय रहते उपायों की आवश्यकता
ज्ञापन सौंपने के बाद, बीडीओ देसरी और स्वास्थ्य प्रभारी ने इस मुद्दे पर गंभीरता से विचार करने का आश्वासन दिया। उनका कहना था कि स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में सुधार के लिए हर संभव प्रयास किए जाएंगे और फॉगिंग एवं छिड़काव की प्रक्रिया जल्द शुरू की जाएगी।
इस तरह के प्रयासों से यह उम्मीद जताई जा रही है कि देसरी प्रखंड के ग्रामीण इलाकों में मच्छरों से उत्पन्न होने वाली बीमारियों का प्रभावी तरीके से नियंत्रण किया जा सकेगा और स्वास्थ्य सेवाओं को हर क्षेत्र में समान रूप से पहुंचाया जा सकेगा।
